आवाज़ ए हिमाचल
शिमला। हिमाचल प्रदेश में एक वर्षीय एनटीटी डिप्लोमा धारकों को प्रदेश सरकार बड़ी राहत दे सकती है। शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने दिव्य हिमाचल से खास बातचीत में बताया कि यह मामला केंद्र सरकार के समक्ष उठाया गया है। यदि केंद्र से एनटीटी के एक साल के डिप्लोमा को मंजूरी नहीं मिलती है, तो सरकार इन्हीं डिप्लोमा धारकों को एक साल का अतिरिक्त कोर्स करवाएगी। शिक्षा मंत्री के इस ब्यान से एक बार एक साल के डिप्लोमाधारक एनटीटी प्रशिक्षुओं को नियुक्ति की उम्मीद जगी है। एनटीटी भर्ती पर शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने कहा कि एनसीटीई की गाइडलाइंस के मुताबिक एनटीटी भर्ती के लिए दो वर्ष का डिप्लोमा अनिवार्य किया गया है। इस बारे में जल्दी ही शिक्षा मंत्री केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय से मुलाकात करेंगे। उन्होंने कहा कि यदि राहत नहीं मिलती है तो उन महिलाओं से 1 साल का अतिरिक्त कोर्स करवाया जाएगा। जिनके पास महज 1 वर्ष का ही डिप्लोमा है। उन्होंने कहा कि एनटीटी भर्तियों को लेकर भाजपा सरकार ने जो पॉलिसी बनाई थी, उसमें कुछ संशोधन किया जाएगा। केंद्र से प्री-प्राइमरी की भर्ती के लिए आया साढ़े 47 करोड़ का खर्च भी लैप्स हो गया था और इस साल के लिए 150 करोड़ का बजट भी मंजूर हो गया है।
अब आचार सहिंता के बाद खुद शिक्षा मंत्री ने दिल्ली जाने की बात कही है और इस मुददे को केंद्र के समक्ष रखेंगे। करीब 50 हजार प्री-प्राइमरी स्कूलों में 55 हजार बच्चों को पढ़ाने के लिए एनटीटी के पदों पर भर्तियां होनी है। अभी इन बच्चों को जेबीटी शिक्षक ही पढ़ा रहे हैं। मंत्री ने कहा कि आउटसोर्स पर तैनात 1300 कंप्यूटर शिक्षकों को जल्द ही इलेक्ट्रॉनिक कॉरपोरेशन में शामिल किया जाएगा। अधिसूचना जारी होने के बाद यह भी स्पष्ट हो जाएगा कि किस तरह की पॉलिसी और वेतन स्ट्रक्चर अफसोस कर्मचारियों को प्रदान किया जाएगा। पिछले लंबे समय से नाईलेट कंपनी की ओर से तैनात आउटसोर्स कर्मचारियों की ओर से यह मांग उठाई जा रही थी कि इनके लिए स्थाई पॉलिसी बनाई जाए। ये शिक्षक स्कूलों में 20 से 22 सालों से अधिक समय से सेवाएं दे रहे हैं। पहले ये शिक्षक नाइलेट कंपनी के तहत स्कूलों में पढ़ा रहे थे। इलेक्ट्रॉनिक कॉरपोरेशन में शामिल करने के बाद वेतन और छुट्टियों की समस्या से उन्हें नहीं जूझना पड़ेगा।