आवाज़ ए हिमाचल
शिमला। मुख्यमंत्री सुखविदर सिंह सुक्खू ने फोरेस्ट क्लीयरेंस के मामलों में तेजी लाने के लिए केंद्रीय पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय का कार्यालय हिमाचल में खोलने की वकालत की है। उन्होंने इस कार्यालय को उपकार्यालय तक सीमित न करने की भी वकालत की है। उन्होंने इस संबंध में मंगलवार को नई दिल्ली में केंद्रीय पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्री भूपेंद्र यादव से मुलाकात की। मुख्यमंत्री ने इस मौके पर शिमला में मंत्रालय का एक अलग और पूर्ण एकीकृत क्षेत्रीय कार्यालय खोलने का आह्वान किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार राज्य में लगभग पांच हेक्टेयर के कैंपस क्षेत्र के साथ राजीव गांधी डे-बोर्डिंग स्कूलों का निर्माण करने जा रही है।
उन्होंने कहा कि पहाड़ी क्षेत्रों में स्कूलों के निर्माण के लिए वन संरक्षण अधिनियम 1980 के तहत वन भूमि के विचलन (डायवर्जन) की सीमा में छूट देकर इसे बढ़ाने का आह्वान किया। उन्होंने एकलव्य मॉडल आवासीय स्कूलों में यह सीमा छह हेक्टेयर और डे-बोर्डिंग स्कूलों के लिए पांच हेक्टेयर तक बढ़ाने का आह्वान किया। उन्होंने राज्य सरकार को वन संरक्षण अधिनियम 1980 के तहत पांच हेक्टेयर तक गैर वानिकी उद्देश्य के लिए वन भूमि के परिवर्तन को मंजूरी देने का अधिकार प्रदान करने का भी आह्वान किया। इस मौके पर सीपीएस सुंदर ठाकुर, सुरेश कुमार, मुख्यमंत्री के राजनीतिक सलाहकार सुनील शर्मा, मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना, प्रधान सचिव भरत खेड़ा, प्रधान रेजिडेंट कमिश्नर एसके सिंगला, प्रधान मुख्य वन संरक्षक राजीव कुमार भी उपस्थित थे।