आवाज़ ए हिमाचल
हमीरपुर। मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू के गृह जिले में निर्माणाधीन पुल का स्लैब गिरने के मामले में प्रारंभिक चरण में लोक निर्माण विभाग के तीन अधिकारियों पर गाज गिरी है। जिसमें एक एसडीओ और दो कनिष्ठ अभियंता शामिल हैं। लोनिवि के एसडीओ अनिल कुमार, जेई प्रदीप कुमार और जेई मनोज कुमार को आगामी आदेशों तक प्रदेशभर में पुल के निर्माण कार्यों से हटा दिया गया है। अब वह प्रदेश में किसी भी पुल का निर्माण कार्य नहीं करवा पाएंगे, जबकि संबंधित ठेकेदार के खिलाफ भी जल्द ही बड़ी कार्रवाई अमल में लाने की तैयारी हो चुकी है। हमीरपुर जिले के भोरंज विधानसभा क्षेत्र में जाहू में पुल और दो किलोमीटर सड़क निर्माण का कार्य का टेंडर 2.42 करोड़ रुपये में लोनिवि ने वर्ष 2020-21 में एक कंस्ट्रक्शन कंपनी को आवंटित किया है। इस दौरान बीते 29 मार्च 2023 की रात को निर्माणाधीन पुल का स्लैब जमींदोज हो गया। प्रदेश सरकार ने इस मामले की उच्चस्तरीय जांच के निर्देश दिए।
इस पर लोक निर्माण विभाग के इंजीनियर इन चीफ शिमला ने लोनिवि के क्वालिटी कंट्रोल विंग की तीन सदस्यीय टीम गठित कर इस मामले की जांच के निर्देश दिए। तीन सदस्यीय टीम जब जाहू में पुल के निरीक्षण के लिए पहुंची तो टूटे हुए स्लैब की सामग्री मौके पर नहीं मिली। लोनिवि के अधिकारियों का मानना है कि संबंधित ठेकेदार ने रातोंरात स्लैब की सामग्री मौके से हटा दी थी। जिसके चलते सैंपल एकत्रित करने में दिक्कतों का सामना करना पड़ा।
इस मामले में लोनिवि के मुख्य अभियंता ने भोरंज स्थित लोनिवि के एसडीओ और दो कनिष्ठ अभियंताओं समेत ठेकेदार को कारण बताओ नोटिस जारी किए थे। लेकिन चारों के जवाब संतोषजक नहीं पाए गए। निर्माण कार्य में लापरवाही पाए जाने पर अब लोनिवि ने सरकार के आदेश पर तीन अधिकारियों को पुल के निर्माण कार्य से हटा दिया है। ऐसा माना जा रहा है कि बहुत जल्द ही तीनों अधिकारियों के खिलाफ निलंबन की गाज भी गिर सकती है।
वहीं ठेकेदार का कहना है कि पुल का स्लैब उसने लोनिवि के अधिकारियों के कहने पर गिराया। ठेकेदार की इस बात में कितनी सच्चाई है, यह जांच का विषय बना हुआ है। उधर, लोनिवि के इंजीनियर इन चीफ शिमला ई. अजय गुप्ता ने कहा कि भोरंज के जाहू पुल के निर्माण कार्य में कोताही पर तीन अधिकारियों को पुल के कार्य से हटाने के आदेश जारी किए गए हैं।