आवाज़ ए हिमाचल
गोपाल दत्त शर्मा,राजगढ़
28 नवंबर।“परमात्मा ने यह सृष्टि और मनुष्य का निर्माण केवल प्यार करने के लिए किया है। अतः सभी में ईश्वर का रूप देखते हुए प्रेम से जीवन जियें, यही मनुष्य जीवन का मुख्य लक्ष्य है।”
उक्त उद्गार सतगुरु माता सुदीक्षा जी महाराज ने वर्चुअल रूप में आयोजित संत निरंकारी मिशन के तीन दिवसीय 74वें वार्षिक निरंकारी संत समागम के शुभारंभ पर मानवता के नाम सन्देश में व्यक्त किए। हरियाणा, समालखा और गन्नौर के बीच जीटी रोड पर स्थित संत निरंकारी आध्यात्मिक स्थल से इस सन्त समागम का सीधा प्रसारण किया जा रहा है, जिसका आनंद भारत तथा दूर देशों में बसे हुए लाखों निरंकारी श्रद्धालु भक्तों एवं प्रभु प्रेमी सज्जनों द्वारा मिशन की वेबसाईट तथा साधना टीवी चैनल के माध्यम से लिया जा रहा है।सतगुरू माता सुदीक्षा जी महाराज के समागम स्थल पर आगमन होते ही सन्त निरंकारी मंडल एवं केन्द्रीय योजना एवं सलाहकार बोर्ड के वरिष्ठ सदस्यों ने उनका हार्दिक स्वागत किया। उसके बाद कार्यकारिणी समिति के सदस्यों, केन्द्रीय योजना एवं सलाहकार बोर्ड के सदस्यों, मंडल के विभिन्न विभागों के समन्वयकों एवं मिशन के रोशन मीनार सन्तों द्वारा एक फूलों से सुसज्जित खुले वाहन (पालकी) द्वारा सतगुरु माता जी को मुख्य मंच तक ले जाया गया।
28 नवम्बर, को दोपहर 12 से 2 बजे तक सेवादल रैली का आयोजन किया किया,उसके उपरांत सांय 5 से रात्रि 9.30 बजे तक सत्संग कार्यक्रम का आयोजन किया गया। 29 नवंबर को सांय 5 से रात्रि 9.30 बजे तक सत्संग का आयोजन किया जायेगा जिसमें बहुभाषी कवि सम्मेलन मुख्य आकर्षण रहेगा। वर्चुअल रूप में आयोजित इस संत समागम के अवसर पर सरकार द्वारा जारी कोविड-19 के निर्देशों का यथा योग्य पालन किया जा रहा है।