आवाज़ ए हिमाचल
20 नवंबर।शाहपुर कांग्रेस ने प्रदेश महासचिव केवल सिंह पठानिया के नेतृत्व में ग्राम पंचायत घरोह के तरेला गांव में तीन कृषि कानूनों को वापस लेने की खुशी में जश्न मनाया।इससे पूर्व तरेला गांव की जनता ने प्रदेश कांग्रेस महासचिव केवल सिंह पठानिया का जोरदार स्वागत।
पठानिया ने देश भर के किसानों को काले कानून वापस लेने पर बधाई दी।पठानिया ने कहा कि
किसानों के दबाव में मोदी ने काले कानूनों को वापस लेने की घोषणा की है।आजादी के बाद यह दूसरा बड़ा आंदोलन है,जिसमे सात सौ किसानों ने जान की कुर्बानी दी है।किसानों ने कहा था कि जब तक कानून को संसद में निरस्त नही किया जाता है व एमएसपी पर कानून नही बनता है तब तक आंदोलन जारी रहेगा। इस आंदोलन के दौरान अनेक तमगे किसानों को दिए गए लेकिन किसानों ने हार नही मानी।उन्होंने मोदी सरकार से सवाल किया है कि इस आंदोलन में 700 लोगों की शहादत को सरकार क्या पहले रोक नही सकती थी। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने संबोधन में कहा कि सरकार किसानों को समझा नही पाई,लेकिन वास्तविकता में किसान तो पहले ही समझ गया था, लेकिन प्रधानमंत्री नही समझ पाए थे। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री के समझने के बाद अब प्रदेश के मुख्यमंत्री की बारी है। उपचुनाव में चार सीट हारे हैं तथा 2022 के चुनाव सामने है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी ने किसानों की 15 सूत्रीय मांगपत्र मुख्यमंत्री को सौंपा था,लेकिन किसानों की मांग पर प्रदेश सरकार ने कोई ध्यान नही दिया है।
उन्होंने कहा वह शुरू से जानते थे कि यह कानून काले है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में किसानों को खाद की भारी कमी है। किसानों को कहीं भी खाद नही मिल रही, जहां मिल रही है वह महंगी है। उन्होंने कहा कि खाद पर सब्सिडी के सारे दावे हवा हो गए हैं, सरकार को इस पर गौर करने की जरूरत है। पठानिया ने कहा कि प्रधानमंत्री से लेकर मुख्यमंत्री को इन बिलों को वापस लेने से पहले पूरे देश से माफी मांगनी चाहिए थी। उन्होंने कहा कि इन बिलों को तत्काल लोकसभा का सत्र बुलाकर वापस लेना चाहिए। किसानों को राहत देनी चाहिए एक वर्ष से किसान लगातार सड़कों पर थे। सैकड़ों किसानों की जान चली गई और प्रधानमंत्री को अब याद आ रहा है कि यह कृषि कानून किसानों के हक में नहीं था, इसलिए इसे वापस ले लिया जाए। यह कानून महज इसलिए वापस लिया, क्योंकि भाजपा को उपचुनावों में पूरे देश में हार मिली है।अब भाजपा को अगले चुनावों में पूरे देश में हार दिख रही है। इस हार से बचने के लिए भाजपा ने इन कानूनों को वापस लिया है। भाजपा की सरकार चाहे प्रदेश हो या देश इन्हें किसी भी वर्ग से कोई लेना-देना नहीं यह सिर्फ चुनाव की राजनीति करते हैं। अब चुनाव दिख रहे थे न वापस ले लिया है। बाद में फिर से किसानों परिचित होते हैं। इसलिए तत्काल इन्हें लोकसभा का सत्र बुलाकर इन बिलों को वापस लेना चाहिए।“जय जवान जय किसान” की जीत हुई है। पठानिया ने कहा कि इस बार जय जवान जय किसान की जीत हुई है। आजादी में जो महात्मा गांधी जवाहरलाल नेहरू ने अधिकार भारत की जनता को दिया है। भारत की जनता ने इस अधिकार के दम पर आंदोलन कर इन कानूनों को वापस लेने के लिए मोदी सरकार को झुकाया है।पठानिया ने तरेला गांव की समस्याओं को पूरा करने का अश्वाशन दिया।इस मौके पर मनोज कुमार ,सरुप चन्द, सुधीर कुमार ,शमा देवी (वार्ड सदस्य),सुभाष चन्द,आयुष ठाकुर युवा सेवादल ब्लॉक् कांग्रेस अध्यक्ष,दमन,कमल कुमार, मदन,कुसम लता ,धूपु ,कमला देवी,सुमना देवी, अभिषेक ठाकुर, विनोदकुमार,विनय ठाकुर सोशल मीडिया ब्लॉक् कांग्रेस अध्यक्ष, विवेक राणा ब्लॉक् कांग्रेस महासचिव आदि स्थानीय जनता मोजूद रहे।