आवाज ए हिमाचल
26 अप्रैल। हिमकेयर व आयुष्मान भारत योजना के तहत 31 मई तक पंजीकृत नहीं होने वाले निजी अस्पतालों की सारी सरकारी सुविधाएं छिन जाएंगी। इस संबंध में प्रदेश सरकार ने निर्देश जारी कर दिए हैं। इसके तहत जो निजी अस्पताल सरकारी कर्मचारियों व उनके स्वजन के उपचार पर मेडिकल रिवर्समेंट के लिए अधिकृत किया गया है उनकी सेवा समाप्त कर दी जाएगी। हिमाचल प्रदेश में स्वास्थ्य विभाग ने सिंगल विंडो प्रक्रिया को लागू कर दिया है। इसके तहत सभी योजनाओं का लाभ प्रदेश के लोगों को देना होगा।
प्रदेश के 209 अस्पतालों में हिमकेयर व आयुष्मान भारत योजना के तहत कैशलेस उपचार का लाभ उठाया जा सकता है। इनमें केवल 61 निजी अस्पताल हैं जहां पर कैशलेस उपचार करवाया जा सकता है। प्रदेश में चल रही स्वास्थ्य बीमा योजना आयुष्मान भारत और हिमकेयर के तहत लाभार्थी परिवारों को निशुल्क पांच लाख रुपये तक के कैशलेस उपचार का प्रावधान है। हर बीमारी के लिए अलग-अलग पैकेज निर्धारित है, जिसके आधार पर उपचार की व्यवस्था है। स्वास्थ्य बीमा योजनाओं के तहत लाभार्थियों का निशुल्क उपचार होता है।
31 मई तक करवाना होगा पंजीकरण
हिमाचल प्रदेश के स्वास्थ्य सचिव अमिताभ अवस्थी का कहना है प्रदेश में सिंगल विंडो सिस्टम के तहत निजी अस्पतालों को ही योजना में पंजीकृत करवाना होगा। 31 मई तक जो पंजीकृत नहीं करवाएगा उसकी सभी सुविधाएं और प्रदान की गई अधिकृत सेवाएं समाप्त हो जाएंगी।