आवाज ए हिमाचल
16 जून उत्तर प्रदेश के साइबर ठग ठगी की रकम को ठिकाने लगाने के लिए कॉलेज विद्यार्थियों का इस्तेमाल कर रहे हैं। 11 अप्रैल को राज्य सहकारी बैंक में 11.55 करोड़ रुपये की ठगी के मामले में यह सनसनीखेज खुलासा हुआ है। जांच में सामने आया है कि साइबर अटैक कर ठगों ने हिमाचल प्रदेश राज्य सहकारी बैंक से निकले गए 11, 55,56,417 रुपये में से 9,97,065 रुपये उत्तर प्रदेश के यश धूरिया के बैंक खाते में स्थानांतरित किए थे। बदले में उसे दो हजार रुपये दिए गए। इसी के आधार पर पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार किया है। जांच में यह भी पता चला है कि 20 वर्षीय यश धूरिया गांव बनखंडी, नाका लोधा कुवां बहड़ा उत्तर प्रदेश निवासी कॉलेज छात्र है। उसका उत्तर प्रदेश के अलीगंज में इंडियन बैंक में खाता है। यह बैंक खाता उसने स्कूल के समय में खोला था। वर्ष 2025 में ईकेवाईसी कराया था। उसने अपने खाते का विवरण, पासबुक, एटीएम और बैंक खाते से जुड़ा सिम कार्ड अपने दोस्त आशीष को दिया और 19 मई, 2025 को उपयोग के बाद सिम उसे वापस कर दिया। यह भी पता चला कि आशीष, मयंक के लिए बैंक खाते और सिम कार्ड की व्यवस्था करता था। बदले में उसे 5,000 रुपये देने का वादा किया गया था, लेकिन उसे सिर्फ 2,000 रुपये मिले। न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत ने यश धूरिया को सशर्त जमानत पर रिहा कर दिया है। यह मामला 16 मई 2025 को साइबर सेल शिमला में दर्ज हुआ था। साइबर ठगों ने हिमाचल प्रदेश राज्य सहकारी बैंक की ही एप को हैक करके 11,55,56,417 रुपये की इस वित्तीय धोखाधड़ी को अंजाम दिया था। पुलिस करीब सात लोगों को नामजद कर चुकी है। मास्टरमाइंड की तलाश जारी है। फिलहाल, जांच टीम आरोपी यश धूरिया और संतोष बबन पटियाल से जुड़े संदिग्ध व्यक्ति आलोक, किरण, छोटू, मयंक और आशीष की गिरफ्तारी के लिए दबिश देने की तैयारी में है।