56 लैंडस्लाइड, 134 मौतें
आवाज़ ए हिमाचल
शिमला। जुलाई में अब तक हुई मानसून की बारिश ने हिमाचल में पिछले 10 साल का रिकॉर्ड तोड़ा है। 1 जुलाई से 24 जुलाई तक हिमाचल में 255.9 मिलीमीटर बारिश होनी चाहिए थी जो वास्तव में 390.3 मिलीमीटर रिकॉर्ड की गई है जो सामान्य से 102% ज्यादा है।वर्ष 2021 से पहले की रिपोर्ट को देखें तो जुलाई के महीने में लगातार सामान्य से कम बारिश होती रही है। 2021 के बाद हिमाचल में जुलाई के महीने में सामान्य से ज्यादा बारिश रिकॉर्ड की गई है पर इस बार बारिश ने अपने कई रिकॉर्ड को तोड़ा है। वहीं हिमाचल में हो रही बारिश से पंजाब में दरिया उफान पर हैं। सोमवार को भी कई जगह बारिश हुई। वहीं, पाकिस्तान की ओर से सतलुज दरिया में ओवरफ्लो होकर भारतीय क्षेत्र में घुस रहे पानी के चलते फाजिल्का के 16 सरहदी गांवों में स्थिति गंभीर हो चली है। 19 प्रभावित जिलों में 3 विभागों हेल्थ, सिंचाई व पब्लिक हेल्थ विभाग में छुटि्टयां रद्द कर दी गई हैं। उधर, पाकिस्तान स्थित गुरुद्वारा श्री करतारपुर साहिब की यात्रा 25 से फिर से शुरू हाेगी। वहीं, दिल्ली में युमना का जलस्तर सोमवार दोपहर बाद 3 बजे 206.57 मीटर पर पहुंच गया। यह खतरे के निशान से 1.24 मीटर ऊपर है। रेवाड़ी-दिल्ली रूट पर 2 पैसेंजर ट्रेनों को रद्द कर दिया। 5 एक्सप्रेस ट्रेनों के दिल्ली में रूट डायवर्ट किए गए।
जुलाई के महीने में हुई भारी बारिश ने प्रदेश की पूरी: अर्थव्यवस्था को बिगाड़ कर रख दिया है। इन 24 दिनों में प्रदेश में 4873 करोड़ रुपए का नुकसान हुआ है। राज्य आपदा प्रबंधन की रिपोर्ट देंखे तो 30 जून को हिमाचल में मॉनसून से 242 करोड़ रुपए की क्षति हुई थी जबकि 1 जुलाई से 24 जुलाई तक नुकसान का यह आंकड़ा बढ़कर 5115.83 करोड रुपए के पास पहुंच गया। मौतें… इन 24 दिनों में जानमाल को भी भारी नुकसान पहुंचा है। 30 जून तक हिमाचल में 24 लोगों की मौत प्राकृतिक आपदा से हुई थी जबकि 1 जुलाई से 24 जुलाई तक हिमाचल 134 लोगों ने अपनी जान गवाई है। संपत्ति… 30 जून को हिमाचल में 6 घर ही भारी बारिश से तबाह हुए थे, 1 जुलाई से 24 जुलाई तक 600 घर क्षतिग्रस्त हुए हैं।