हिमाचल प्रदेश लोक सेवा आयोग के अध्यक्ष मेजर जनरल (सेवानिवृत्त) धर्मवीर सिंह राणा ने कहा: भ्रष्टाचार से बचने के लिए साक्षात्कार प्रणाली खत्म होनी चाहिए

Spread the love

आवाज़ ए हिमाचल

23 मार्च।  हिमाचल प्रदेश लोक सेवा आयोग के अध्यक्ष मेजर जनरल (सेवानिवृत्त) धर्मवीर सिंह राणा मानते हैं कि एचएएस परीक्षा के लिए 30 वैकल्पिक विषय (ऑप्शनल सब्जेक्ट) खत्म होने चाहिए। ऐसा करने से वैकल्पिक विषयों  के सहारे कुछ अभ्यर्थियों का अधिक अंक प्राप्त करने का रास्ता बंद हो जाएगा। सभी अभ्यर्थी योग्यतानुसार अंक प्राप्त कर सकेंगे। अपने कार्यकाल के अंतिम दिन पत्रकारों के साथ बातचीत में धर्मवीर सिंह राणा ने कहा कि साक्षात्कार के आधार पर अंतिम चयन होता है, इस प्रणाली को समाप्त करने की जरूरत है।

संयुक्त इंजीनियरिंग परीक्षा का प्रविधान होना चाहिए।उनका कहना था कि मैंने तीनों विषयों को लेकर एक प्रस्ताव सरकार को भेजा हुआ है, जिस पर सरकार को निर्णय लेना है। अभी लिखित परीक्षा केवल स्क्रीनिंग का जरिया मात्र है। लिखित परीक्षा के लिए 65 फीसद अंक हैं और साक्षात्कार के लिए 35 अंक।उन्होंने माना कि लाहुल-स्पीति व किन्नौर जिला के साथ दूसरे पिछड़े क्षेत्रों में बच्चों की शिक्षा का स्तर पिछड़ा हुआ है। ऐसे में इनका शैक्षणिक स्तर बेहतर करने के लिए केंद्रीय विद्यालय, एकलव्य स्कूल खुलने चाहिए।  उन्होंने बताया कि 2012 से 2016 तक औसतन 374 भर्तियां की गईं, जबकि 2017 के बाद इसमें तेजी आई है। वर्ष 2017 में 754, 2018 में 1174, 2019 में 1892 व कोरोना काल के दौरान वर्ष 2020 में भी 850 भर्तियां की गई हैं।

भ्रष्टाचार से बचने के लिए साक्षात्कार प्रणाली खत्म होनी चाहिए

उन्होंने कहा कि यदि अभ्यर्थियों के चयन को भ्रष्टाचार की संभावनाओं से दूर रखना चाहते हैं तो साक्षात्कार प्रणाली खत्म होनी चाहिए। देश के 17 राज्यों ने साक्षात्कार के आधार पर एचएएस परीक्षा को बंद कर दिया है।  मैंने आयोग में आने के बाद एक विषय विशेषज्ञ बुलाने की व्यवस्था को बदला और तीन विशेषज्ञों को बुलाने की व्यवस्था शुरू की। साक्षात्कार के लिए किसी भी विशेषज्ञ को 12 घंटे पहले सूचित किया जाएगा कि उन्हें आयोग में अभ्यर्थियों के साक्षात्कार के लिए आना है। साक्षात्कार पैनल में बैठे लोग अभ्यर्थी का नाम और माता-पिता का नाम और अन्य तरह की जानकारी नहीं ले सकते थे।

वन टाइम रजिस्ट्रेशन की व्यवस्था शुरू की

आयोग ने अभ्यर्थियों के पंजीकरण के लिए पहली बार ओटीआर (वन टाइम रजिस्ट्रेशन) की व्यवस्था अपनाई है। इसके परिणामस्वरूप अभ्यर्थियों को आयोग की ओर से ज्ञापित पदों के लिए आवेदन करने के लिए बार-बार की प्रक्रिया से गुजरने की आवश्यकता नहीं रहती है। ऑनलाइन परीक्षा पद्धति में परीक्षा समापन के 30 मिनट के भीतर परीक्षार्थी को ऑनलाइन पुनर्निरीक्षण की व्यवस्था उपलब्ध करवाई गई है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *