आवाज़ ए हिमाचल
शिमला। नीट के रिजल्ट में गड़बड़ी कर खुद फर्जी सर्टिफिकेट तैयार कर बिलासपुर के घुमारवीं का रहने वाला छात्र कार्तिक शर्मा नेरचौक मेडिकल कॉलेज में 12 से 16 अक्तूबर 2022 को हुई काउंसलिंग में शामिल हो गया। काउंसिलिंग के बाद इंदिरा गांधी मेडिकल कॉलेज (आईजीएमसी) अस्पताल शिमला में उसका दाखिला भी हो गया। जब मेडिकल काउंसिलिंग कमेटी (एमसीसी) ने सभी छात्रों के दस्तावेज जांचे तो यह फर्जीवाड़ा सामने आया। कॉलेज प्रबंधन ने उसे सस्पेंड कर दिया है और शिमला के थाना सदर में धोखाधड़ी का मामला दर्ज करवा दिया। पुलिस ने आरोपी छात्र को गिरफ्तार भी कर लिया है। आरोपी आईजीएमसी में पिछले दो माह से नियमित कक्षाएं लगा रहा था। आरोेपी ने एक छात्रा के दस्तावेज के साथ छेड़छाड़ कर अपना सर्टिफिकेट तैयार कर लिया था।
आरोपी छात्र ने नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (एनटीए) की वेबसाइट पर घोषित रिजल्ट से छात्रा का सर्टिफिकेट डाउनलोड किया और उसमें टेंपरिंग करके अपने लिए फर्जी दस्तावेज तैयार किए। थाना सदर प्रभारी धर्मसेन नेगी ने बताया कि मामला दर्ज कर आरोपी छात्र को गिरफ्तार कर लिया है। अभी पूरी छानबीन की जाएगी। मामले में विभागीय मिलीभगत की भी आशंका जताई जा रही है। उधर, बड़ा सवाल यह है कि काउंसिलिंग में आरोपी को कैसे सीट मिल गई। दस्तावेजों को सत्यापित क्यों नहीं किया गया। मेडिकल काउंसिलिंग कमेटी ने जब दस्तावेज चेक किए तो फर्जी सर्टिफिकेट मिलने की जानकारी आईजीएमसी शिमला के साथ साझा की। इसके बाद आईजीएमसी प्रबंधन ने भी अपने स्तर पर छात्र के रिकॉर्ड की जांच की। जानकारी सही पाए जाने पर छात्र को सस्पेंड कर दिया गया। इसके बाद थाना सदर में भी शिकायत की गई।