हिमाचल चुनाव: डबल इंजन की सरकार का पहला इंजन 12 नवंबर को हो जाएगा सीज: सचिन पायलट

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आवाज़ ए हिमाचल 

शिमला/हमीरपुर। कांग्रेस के स्टार प्रचारक और राजस्थान के पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट ने कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी और केंद्रीय मंत्रियों के दौरे यह साफ बता रहे हैं कि हिमाचल सरकार के दम पर चुनाव नहीं जीत सकते। भाजपा नेताओं के भ्रमण से सब साफ हो रहा है कि हिमाचल में कांग्रेस आ रही है। कांग्रेस की एकजुटता से 90 प्रतिशत जीत हो गई है। देश के हालात छिपे नहीं है। 8 साल से भाजपा सरकार है। महंगाई समेत अन्य मुद्दों पर वादे किए, लेकिन किया कुछ नहीं। रोजगार, महंगाई व अन्य ज्वलंत मुद्दों के प्रश्न पर ध्यान भटकाने का काम करते हैं।

सचिन पायलट ने कहा कि भावनाओं में बहकर वोट डालने का प्रकरण चलता है, लेकिन बहकावे में नहीं आना है। सरकार का हिस्सा रहने के बावजूद काम न करवा सकें तो उन्हें विदाई दो। भाजपा नेता आएंगे, बड़ी बातें करेंगे। आज हर वर्ग दुखी है। व्यवस्था में बदलाव जरूरी है। भावनाओं में नहीं बहना है, बदलाव करना है। व्यवस्थाओं को संभालने के लिए नेतृव में बदलाव करना होगा। कांग्रेस सरकार बनानी है। इसमें चूक न हो, इसके लिए आया हूं।

 राजस्थान के पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट ने हमीरपुर के गांधी चौक पर आयोजित कांग्रेस की चुनावी जनसभा में कहा कि भाजपा की डबल इंजन की सरकार का पहला इंजन 12 नवंबर को हिमाचल में सीज हो जाएगा। जनता ने विश्वास के साथ भाजपा को सत्ता में आने का मौका दिया था। लेकिन पिछले पांच सालों में इस सरकार के कार्यकाल में पुलिस भर्ती पेपर लीक और न जाने कितने घोटाले हुए हैं। प्रदेश में सड़कों, स्वास्थ्य संस्थानों, बिजली और स्कूलों का हाल बेहाल हो गया। अब पांच साल पूरे होने पर जाते-जाते सरकार ने बिना बजट के सैकड़ों शिलान्यास और लोकार्पण कर दिए। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हर हफ्ते हिमाचल आ रहे हैं। अगर भाजपा सरकार में इतना दम होता और प्रदेश में काम किए होते तो प्रधानमंत्री के नाम पर वोट नहीं मांगने पड़ते। चुनावों में वोट मांगने के लिए छोटे से हिमाचल में प्रधानमंत्री, गृहमंत्री समेत दर्जनों नेताओं को हिमाचल आना पड़ रहा है।

सचिन ने कहा कि जब से देश में भाजपा की सरकार आई, तब से हिंदुस्तान में अमीर और गरीब की खाई बढ़ी है। सरकारी आंकड़े बताते हैं कि 47 साल में इतनी बेरोजगारी नहीं हुई जितनी आज है। चीन हमारी सरहद में घुस गया, कई जगह कैंप बना लिए। लेकिन केंद्र सरकार रोक नहीं पाई। जनता महंगाई और बेरोजगारी पर सवाल पूछती है तो भाजपाई मंदिर-मजिस्द और हिंदू-मुस्लिम की बातें करने लग जाते हैं। किसानों को आंदोलन करने के लिए मजबूर किया गया, सैकड़ों किसानों ने आत्महत्या कर ली। उसके बाद तीन कृषि कानून वापस लिए। नोटबंदी से न काला धन वापस आया और न भ्रष्टाचार खत्म हुआ। पिछले पांच सालों में कोई नया उद्योग हिमाचल में नहीं लगा, अगर लगा है तो मुख्यमंत्री श्वेत पत्र जारी करें।

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