शिक्षा विभाग ने केंद्र को लिखा पत्र, नई शिक्षा नीति के बाद बदलेगा फंडिंग पैटर्न

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आवाज़ ए हिमाचल

12 जनवरी। नई शिक्षा नीति लागू होने के बाद केंद्र प्रायोजित योजनाओं के फंडिंग पैटर्न में बदलाव होगा। शिक्षा विभाग में केंद्र प्रायोजित योजनाओं समग्र शिक्षा अभियान (एसएसए) और राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान (आरएमएसए) में नए सिरे से बजट कैसे मिलेगा अभी इस पर स्थिति स्पष्ट नहीं है। प्रदेश सरकार ने केंद्र को पत्र लिखा है। इसमें मांग उठाई गई है कि इन दोनों योजनाओं के तहत वित्तीय वर्ष 2020-21 में अप्रूव ग्रांट पूरी जारी की जाए। एसएसए और आरएमएसए में ऐसे प्रोजेक्ट जो अभी आगे भी चलने हैं उनके लिए ग्रांट जारी रखी जाए, ताकि प्रदेश में ग्रामीण क्षेत्रों में बेहतर तरीके से शिक्षा दी जा सके।

यदि केंद्र इन प्रोजेक्ट के लिए ग्रांट बंद कर देता है तो विभाग को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। ऐसे में प्रदेश सरकार को अपने मद से ही इन प्रोजेक्ट को पूरा करने के लिए पैसा खर्च करना पड़ेगा। समग्र शिक्षा अभियान और राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान के तहत हिमाचल को 90:10 के अनुपात में बजट मिलता है। फंडिंग के लिए हिमाचल को विशेष श्रेणी के राज्यों में शामिल किया गया है। हर साल केंद्र से इन दोनों प्रोजेक्ट के तहत 1200 करोड़ से ज्यादा का बजट हिमाचल को मिलता है।

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