आवाज ए हिमाचल
09 मार्च। रजिस्ट्रेशन एवं लाइसेंसिंग अथॉरिटी पालमपुर में वाहनों के पंजीकरण में हुए फर्जीवाड़े में पुलिस को बड़ी कामयाबी हासिल हुई है। पुलिस ने इस मामले में दिल्ली व चंडीगढ़ से दो लोगों को हिरासत में लिया है। साथ ही एक वाहन भी कब्जे में लिया है। आरोपितों की पहचान धर्मशाला बाईपास में दुकान करने वाले अरविंद उर्फ बिंदु निवासी मनियाड़ा व चंडीगढ़ निवासी पवन के रूप में हुई है। पुलिस ने इस मामले में आरएलए में कार्यरत कर्मचारी समेत 111 लोगों के खिलाफ धोखाधड़ी का मामला दर्ज किया है। इस मामले में 110 वाहनों का पंजीकरण रद किया है। आरएलए कार्यालय पालमपुर में फर्जीवाड़े के तहत छह माह में वीएस-4 मानक के 112 वाहनों का पंजीकरण हुआ था। प्रशासन ने अपने स्तर पर जाच करने पर पाया था कि सभी वाहनों के पंजीकरण में फर्जीवाड़ा हुआ है। इस मामले में प्रशासन ने कार्यालय में तैनात कर्मचारी के विरुद्ध भी मामला दर्ज करवाया था। हिरासत में लिए दोनों आरोपितों को न्यायालय ने पाच दिन के पुलिस रिमाड पर भेज दिया है। डीएसपी अमित कुमार ने बताया कि अन्य लोगों की भी शीघ्र गिरफ्तारी होगी।
केंद्रीय प्रदूषण बोर्ड की ओर से निर्धारित नियमों के अनुसार 31 मार्च, 2020 के बाद बीएस-4 मानक के वाहनों के पंजीकरण पर रोक लगा दी गई है। इसके बाद बीएस-6 मानक वाहनों का पंजीकरण ही संभव है। आरएलए कार्यालय पालमपुर में नियमों को धता बताकर तय तिथि के बाद भी छह माह में 112 वाहनों का पंजीकरण किया गया था। कुछ लोगों ने शाखा से अनापत्ति प्रमाण पत्र हासिल कर वाहन अन्यत्र पंजीकृत करवा लिए थे। रिकॉर्ड खंगालने पर पता चला था कि 112 वाहनों के पंजीकरण में फर्जीवाड़ा हुआ है। हालांकि दो वाहन मालिकों ने प्रशासन के नोटिस के बाद कार्यालय में आकर पंजीकरण सही साबित कर दिया लेकिन 110 वाहनों से संबंधित कोई भी जानकारी प्रशासन को नहीं मिली थी। इसके बाद पुलिस ने इस मामले में प्राथमिकी दर्ज कर जांच शुरू की थी।