आवाज़ ए हिमाचल
शिमला। बिजली बोर्ड में ओल्ड पेंशन बहाली का मसला जल्द सुलझ सकता है। वित्त विभाग की मंजूरी के बाद इसी हफ्ते सर्विस कमेटी की बैठक होने की संभावना है। विधानसभा के मानसून सत्र से पहले बोर्ड के कर्मचारियों को राज्य सरकार और बिजली बोर्ड प्रबंधन बड़ी राहत का ऐलान कर सकता है। बिजली बोर्ड कर्मचारियों के लिए अब तक दो बड़े फैसले लिए जा चुके हैं। इनमें मई महीने में सर्विस कमेटी के फैसलों को बोर्ड प्रबंधन ने लागू किया है। इस फैसले के बाद बिजली बोर्ड में 2500 तकनीकी कर्मचारियों को बड़ी राहत मिली है। बोर्ड ने तकनीकी कर्मचारियों के विभिन्न पदों के भर्ती और पदोन्नति अधिनियम (आर एंड पी) में संशोधन की अधिसूचना जारी कर दी है। आर एंड पी नियमों से टीमेट और हेल्पर्ज को पदोन्नति का लाभ मिलेगा। इसके साथ ही करीब एक हजार पदों पर भर्तियां शुरू हो पाएंगी तो 4000 नए पदों पर भर्ती का रास्ता भी साफ होगा। बोर्ड में टी-मेट और हेल्पर्ज के पदोन्नति नहीं हो पा रही थी। इन श्रेणियों में पदोन्नति के लगभग 4000 हजार पद खली हैं। मामला इस वर्ष 20 मई को सर्विस कामेटी और उसके बाद पिछले दिनों निदेशक मंडल की बैठक में लाया गया था। अब बिजली बोर्ड ने इस बारे में अधिसूचना जारी कर दी है। इसके साथ ही बीते दिनों चंबा जिला के चार बिजली प्रोजेक्ट दोबारा से बोर्ड को देने का फैसला किया है, जबकि इससे पहले इन प्रोजेक्ट को पावर कोरपोरेशन के हवाले किया जा रहा था। इनमें 15 मेगावाट का सेईकोठी-एक, 18 मेगावाट का सेईकोठी-दो, 16 मेगावाट का देवीकोठी और 18 मेगावाट का हेल पावर प्रोजेक्ट शामिल हैं।
इन प्रोजेक्ट को लेकर जर्मन एजेंसी केएफडब्ल्यू के साथ 880 करोड़ रुपए का करार हुआ था। इनमें से अभी तक 18 करोड़ 23 लाख रुपए खर्च भी किए जा चुके हैं। अब बिजली बोर्ड इन प्रोजेक्ट पर काम शुरू करेगा। इन प्रोजेक्ट के बिजली बोर्ड के हाथों से छिटक जाने के बाद इन्हें बोर्ड के भविष्य से जोडक़र देखा जा रहा था और बड़ा नुकसान बोर्ड को होने की संभावना थी, लेकिन अब एक बार फिर प्रोजेक्ट बिजली बोर्ड के हाथ में आया है और हालात सामान्य होने के आसार बन रहे हैं।