आवाज़ ए हिमाचल
शिमला, 14 मार्च। कांग्रेस में चुनाव से ठीक पहले खलबली मच गई है। कांग्रेस के प्रदेश संयोजक ने पद से इस्तीफा सौंप दिया है। उन्होंने संगठन में भेदभाव के संगीन आरोप लगाए हैं। शिमला में नगर निगम से पहले कांग्रेस को यह बड़ा झटका लगा है। इस्तीफा सौंपने वाले पार्टी संयोजक शिमला से ही ताल्लुक रखते हैं और पूर्व में हुए चुनाव में कई अहम जिम्मेदारियां निभा चुके हैं।
इस्तीफा मेल करने के बाद संदीप शर्मा दिल्ली रवाना हो गए हैं। वह सोमवार को यहां संगठन के बड़े नेताओं से मुलाकात करेंगे और प्रदेश की हकीकत उनके सामने खोलेंगे। संदीप शर्मा की मानें तो उन्हें पार्टी की तरफ से मंडी संसदीय सीट पर हुए उपचुनाव में जिम्मेदारी सौंपी थी।
इस दौरान उन्होंने 1125 बूथों पर जाकर पार्टी की तरफ से प्रचार किया। इसके बाद पार्टी ने उन्हें उत्तराखंड में विधानसभा चुनाव में तैनात कर दिया। इस दौरान वे 40 दिन उत्तराखंड में रहे और गढ़वाल जोन की 24 विधानसभा क्षेत्रों में प्रचार भी किया, लेकिन जब वापस लौटे, तो शिमला नगर निगम चुनाव के लिए बनाई गई छह टीमों में से किसी में भी उन्हें शामिल नहीं किया गया है, जबकि ऐसे लोगों को पार्टी में लाया जा रहा है जो धन्ना सेठ हैं। इन सभी बातों से नाराज होकर उन्होंने इस्तीफा देने का फैसला किया है।
उनका कहना है कि इस्तीफा सौंपने से पूर्व वे प्रदेशाध्यक्ष से भी मिलकर अपना पक्ष रख चुके हैं। लेकिन उनकी बात को न तो मंडी से सांसद बनी प्रतिभा सिंह ने सुना और न ही प्रदेशाध्यक्ष ने कोई प्रतिक्रिया व्यक्त की।